प्रदेश के नए जिलों में अनूपगढ़ में बीकानेर के खाजूवाला और छत्तरगढ़ को शामिल करने का विरोध शुरू हो गया है। सोमवार को खाजूवाला की सभी दुकानें बंद रही और प्रशासन को सरकार विरोधी नारे सुनने पड़े। आंदोलन करने वालों में स्थानीय लोगों के साथ पंचायत समिति व जिला परिषद् के सदस्य भी शामिल है। दोपहर होते-होते विरोध तेज हो गया। अत्यावश्यक सेवाओं में शामिल मेडिकल की दुकानें भी बंद कर दी गई। कल शाम को ही उपखंड कार्यालय से मैन बाजार तक मौन जुलूस निकाला गया और ब्लैक आउट भी कर विरोध जाहिर किया इसके बाद आज से अनिश्चितकाल के लिए खाजूवाला बंद होना शुरू होगया है। आज से छतरगढ तहसील में भी विरोधस्वरूप मार्केट बंद रखा है। मेडिकल एसोसिएशन के शामिल होने के बाद इमरजेंसी सेवाएं भी ठप होने लगी।
स्थानीय लोगों ने मिलकर विरोध के लिए एक मंच का गठन कर लिया है। जिसमें स्थानीय व्यापारी, किसान और जनप्रतिनिधियों को शामिल किया गया है। सोमवार को 11 बजे एसडीएम कार्यालय का घेराव करते हुए स्थानीय लोगों ने खाजूवाला को नया जिला बनाने और तब तक बीकानेर में ही शामिल रखने की मांग की है।
इस दौरान खाजूवाला में अनाज मंडी बंद रही और आढ़त व्यापारियों ने काम नहीं किया। इस दौरान खाजूवाला जिला बनाओं संघर्ष समिति के एडवोकेट भूपेंद्र सिंह, एडवोकेट पुरुषोत्तम सारस्वत, बार एशोसिएशन के अध्यक्ष एडवोकेट सलीम खान, एडवोकेट रफीक शाह, रघुवीर सिंह ताखर, शाहबुद्दीन पड़िहार आदि ने विरोध जताया। खाद्य व्यापार संघ के अध्यक्ष मोहनलाल सिहाग, कच्ची आढ़त व्यापार के अध्यक्ष रामकिशन कस्वां के नेतृत्व में अधिवक्ताओं, व्यापारियों व जनप्रतिनिधियों ने विरोध जताया। खाजूवाला विधानसभा क्षेत्र के सरपंचों व डायरेक्टर्स ने भी खाजूवाला तहसील व छतरगढ़ तहसील को अनूपगढ़ की जगह बीकानेर जिले में रखने की मांग करते हुए आंदोलन की चेतावनी दी है।
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