राजस्थान में नए जिलों की सीमा बदलने का रास्ता साफ, अब ये जिले हो सकते हैं रद्द
जयपुर। हरियाणा व जम्मू कश्मीर विधानसभा चुनाव परिणाम आने के साथ ही केन्द्र सरकार ने सभी राज्यों को 31 दिसम्बर तक संभाग, जिले, उपखंड, तहसील व गांव सहित अन्य प्रशासनिक इकाइयों की सीमा बदलने की छूट भी दे दी। एक जनवरी से प्रशासनिक सीमाएं फिर फ्रीज हो जाएंगी। जनगणना महारजिस्ट्रार कार्यालय से मंगलवार को जारी इस आदेश से राजस्थान में पूर्ववर्ती सरकार के समय बनाए गए नए जिलों की सीमा बदलने का रास्ता साफ हो गया।
राजस्थान सरकार को मिली राहत
31 दिसम्बर तक प्रशासनिक इकाइयों की सीमा बदलने की छूट से राज्य सरकार को राहत मिली है। इससे अब पूर्ववर्ती सरकार के समय बने जिलों की समीक्षा के लिए बनी मंत्रिमंडलीय कमेटी को निर्णय लेने के लिए और समय मिल गया है। सीएम भजनलाल शर्मा ने पिछले दिनों केन्द्रीय गृह मंत्री अमित शाह को पत्र भेज कर जिले, तहसील, उपखंड और गांवों के गठन की छूट दिलाने का आग्रह किया था।
इन जिलों पर गिर सकती है गाज
राजस्थान के 17 नए जिलों में 12 ऐसे है, जो मापदंडों में फिट नहीं बैठ रहे है। इनमें दूदू, कोटपूतली—बहरोड़, खैरथल—तिजारा, नीमकाथाना, केकड़ी, डीग, गंगापुरसिटी, शाहपुरा, फलोदी, सलूंबर, सांचौर और अनूपगढ़ जिले का नाम शामिल है। ऐसे में माना जा रहा है कि इन नए जिलों की सीमा बदली जा सकती है। नए जिलों की समीक्षा के लिए मदन दिलावर के संयोजन में गठित कमेटी कमेटी जल्द ही सरकार को फाइनल रिपोर्ट भेजी। जिस पर सीएम भजनलाल शर्मा ही अंतिम फैसला लेंगे।
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